हम इस हैंडपंप का पानी नही पीते- कलेक्टर से बोली रोशनी और पाई टॉफी
संजय शर्मा संपादक
हैलो धार पत्रिका/ हैलो धार न्यूज़ पोर्टल
धार । रोशनी मैं हैंडपंप चला रहा हु यहां से पानी पी लेना। उमरबन ब्लॉक के हसनपुरा कालापानी गांव में घूमते हुए कलेक्टर डॉ पंकज जैन ने पीछे आ रही 7 साल की बालिका रोशनी से पूछा। रोशनी साफ मना कर गई और बोली ये हैंडपंप का पानी पीने लायक नही है, हम गांव के कुएं का पानी पीते है। कोई 1014 जनसंख्या के गांव हसनपुरा के लगभग 11 बच्चे फ्लोरोसिस से प्रभावित होने की खबर और वहां जारी जल जीवन मिशन के कार्यो को देखने कलेक्टर पहुचे थे।
रोशनी ने सही उत्तर पर टॉफी पाई। लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी के कार्यपालन यंत्री के पी वर्मा ने बताया कि इस गांव में लगभग 75 लाख की लागत से जल जीवन मिशन के तहत घर घर स्वच्छ पेयजल पहुँचाने की व्यवस्था की जा रही है और कुल 192 घरों में आधे से अधिक घरों में पेयजल के कनेक्शन दिये जा चुके है। उन्होंने कलेक्टर को आश्वस्त किया है कि अगले 15 दिनों में गांव के प्रत्येक घरों में पाइपलाइन के माध्यम से शुद्ध स्वच्छ पेयजल उपलब्ध कराया जाएगा। फ्लोराइड प्रभावित 7 में से 4 हैंडपंपों को बंद कर दिया गया है। शेष 3 हैंडपंपों पर पिला रंग पोत लोगों के निस्तार कार्य के लिए उपलब्ध रखा गया है।
कलेक्टर ने फ्लोराइड प्रभावित बच्चो का दन्त परीक्षण किया। उनके घरों में पहुँचकर पाइपलाइन से पेयजल की उपलब्धता की पड़ताल की। कलेक्टर ने पेयजल के सोर्स सम्पवेल का भी निरीक्षण किया। बाद में वे प्रतापपुर दाव्या पहुंचे तथा गांव में घर घर पेयजल आपूर्ति के लिए जल जीवन मिशन के कार्यो का निरीक्षण किया। डग्वेल और सम्पवेल भी देखा। कार्यपालन यंत्री ने बताया कि 282 घरों में पाइपलाइन से पेयजल की आपूर्ति की गई है। जिला पंचायत सीईओ आशीष वशिष्ठ, एडीएम सलोनी सिडाना साथ मौजूद थे।
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